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Yamunanagar - किरायेदारों के बाद अब संपत्ति कर बकायादारों की संपत्ति सील करने की तैयारी

निगम ने 284 डिफाल्टरों की सूची की तैयार, जल्द होगी सीलिंग कार्रवाई शुरू






यमुनानगर। NEWS -   बकाया किरायेदारों के बाद अब नगर निगम ने संपत्ति कर बकायादारों की संपत्ति सील करने की तैयारी कर ली है। इसके लिए नगर निगम ने संपत्ति कर जमा न कराने वाले 284 डिफाल्टरों की सूची तैयार कर ली है। इन पर लगभग 32 करोड़ सात लाख रुपये संपत्ति कर बकाया है। निगम की ओर से इन्हें अंतिम बार नोटिस जारी किया है। यदि जल्द ही इन्होंने अपना बकाया संपत्तिकर जमा नहीं कराया तो निगम की ओर से उनकी संपत्ति सील की जाएगी। निगमायुक्त आयुष सिन्हा ने संपत्ति धारकों को 31 दिसंबर तक जारी ब्याज माफी स्कीम का लाभ उठाकर अपना संपत्ति कर जमा कराने का आह्वान किया है।



नगर निगम आयुक्त ‌आयुष सिन्हा ने बताया कि 31 दिसंबर तक सरकार द्वारा एकमुश्त संपत्ति कर जमा करवाने पर सौ प्रतिशत ब्याज माफी की योजना है। बकायेदार इस योजना का लाभ उठाए और बिना ब्याज दिए अपना संपत्ति कर जमा करवाएं। उन्होंने बताया कि नगर निगम क्षेत्र के 178795 प्रॉपर्टी हैं। जिनमें से बहुत से प्रॉपर्टी धारकों ने कई सालों से टैक्स का भुगतान नहीं किया है। बकायेदारों पर प्रॉपर्टी टैक्स के करोड़ों रुपये बकाया है। जिनमें आवासीय, व्यावसायिक, शिक्षण संस्थाएं, फैक्टरी, सरकारी दफ्तर व अन्य भवन हैं। बकायेदारों से संपत्ति कर लेने के लिए निगम की ओर से उन्हें कई बार नोटिस जारी किए। अब उन्होंने एक लाख रुपये से ऊपर के 284 डिफाल्टरों को अंतिम नोटिस भेजा है। जिसमें 5 लाख रुपये से लेकर 10 लाख तक के 102 डिफाल्टर है। इन पर लगभग 7 करोड़ 57 लाख रुपये संपत्ति कर बकाया था। 10 लाख रुपये से अधिक के 61 डिफाल्टर है, जिन पर निगम का लगभग 15 करोड़ 21 लाख रुपये का संपत्तिकर बकाया है। इसी तरह एक लाख रुपये से 5 लाख तक के 83 डिफाल्टर है। इन डिफाल्टर पर लगभग 3 करोड़ 92 लाख रुपये का संपत्तिकर बकाया है। इसी तरह संपत्ति कर जमा न कराने पर 11 संस्थाओं को डिफाल्टर घोषित किया गया है।


इन संस्थाओं पर लगभग एक करोड़ 11 लाख रुपये संपत्ति कर बकाया है। वहीं, 27 शिक्षण संस्थाएं (स्कूल, कॉलेज व इंस्टीट्यूट) डिफाल्टर घोषित की गई है। उन्हें निगम का 4 करोड़ 26 लाख रुपये संपत्ति कर देना है। निगमायुक्त आयुष सिन्हा ने बताया कि इन संपत्ति धारकों को निगम की ओर से कई बार नोटिस ‌जारी किए गए। लेकिन उन्होंने संपत्ति कर जमा नहीं कराया।  हरियाणा नगर निगम अधिनियम 1994 की धारा 113 की उपधारा (1), (2) व धारा 130, धारा 408 ए के तहत अंतिम नोटिस जारी किया था। यदि जल्द ही इन्होंने अपना बकाया संपत्तिकर जमा नहीं कराया तो निगम की ओर से उनकी संपत्ति को सील कर दिया जाएगा। इसको लेकर निगम की ओर से पूरी तैयारी कर ली गई है।


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