ई टेंडरिंग को लेकर सरपंचों का विरोध
यमुनानगर | NEWS - ई टेंडरिंग को लेकर सरपंचों का विरोध जारी है। यमुनानगर में आज जिले के सरपंच एसोसिएशन ने ई टेंडरिंग का विरोध करते हुए जिला सचिवालय पर विरोध प्रदर्शन किया। इस दौरान उन्होंने पँचायत विकास मंन्त्री देवेंद्र बबली के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। वही उन्होंने प्रदर्शन करते हुए एसडीएम के माध्यम से सीएम को अपनी मांगों का ज्ञापन भेजा। सरपंचों ने कहा कि 2 लाख से विकास राशि पहले की तरह 20 लाख की जाए। 15 जनवरी को सरपँच टोहाना में अपनी महापंचायत करेंगे।23 जनवरी को टोहाना में सीएम के प्रोग्राम सरपंच सीएम से इस बारे मुलाकात करेंगे।
सरपँच एसोसिएशन ने मीडिया से बातचीत करते हुए बताया कि हम ई टेंडरिंग का विरोध कर रहे है। साथ ही पँचायत मंन्त्री देवेंद्र बबली के खिलाफ प्रदेश के सभी सरपंचों में बहुत रोष है। जहाँ भी उनके कार्यक्रम हुए हमारे सरपँच साथियों ने उनके सामने अपनी मांग रखी लेकिन उन्होंने हमारी मांग को सही से सुना तक नही है। हमारे सरपंचों के साथ उन्होंने सही तरीके से व्यवहार नही किया। उनका बोलने का तरीका बिल्कुल गलत था।हम 15 जनवरी को टोहाना में एक महापंचायत करने जा रहे है। 23 तारीख को टोहाना में सीएम मनोहर लाल के कार्यक्रम में हम सीएम से मिलकर अपनी बात रखेंगे।
सरपंचों ने ज्ञापन के माध्यम से बताया कि ई-टेंडर के माध्यम से विकास कार्य धरातल पर न होकर केवल कागजों में ही होकर रह जाएंगे। सरपंचों ने टेंडर प्रक्रिया को भ्रष्टाचार का पुलिंदा बताया और केवल कुछ लोगों या ठेकेदार को लाभ दिलवाने वाला ही बताया। क्योंकि ठेकेदार टेंडर फीस और जीएसटी आदि का खर्च पूरा करने के लिए टेंडर के पैसे से ही अपना खर्चा निकालेगा और शेष राशि, जो बहुत कम बचती है, उससे ही कार्य करवाएगा और फिर भ्रष्टाचार की जांच में ही समय लगेगा तथा विकास कार्य नहीं हों पायेंगे। सरपंचों ने मुख्यमंत्री से मांग की कि 20 लाख तक की राशि के सभी कार्य बीडीपीओ द्वारा सरपंचों के माध्यम से करवाए जाएं। क्योंकि जो 2 लाख की राशि सरपंचों के लिए विकास कार्य हेतु सरकार करवाने की बात कह रही है, उससे तो सफाई जैसे छोटे कार्य भी नही हो पाएंगे।