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Yamunanagar- युवाओं के लिए अहम खबर: पीडब्ल्यूडी में नौकरी लगाने के नाम एक दो नही बल्कि 45 लोगो ठगा, लाखो की ठगी

सरकारी नौकरी का शार्ट कट आपको पड़ सकता है महंगा, नौकरी के नाम पर आप भी हो सकते है ऐसे ठगों का शिकार, हो जाएं सावधान नौकरी के लिए ना दें किसी को पैसा..!  


यमुनानगर।। युवाओं का सपना होता है कि वे पढ़-लिख कर, अच्छा कोर्स करके, ऊंची डिग्री प्राप्त करके उसके अनुरूप ही उत्तम आय वाली नौकरी भी प्राप्त करें, वही हरियाणा के यमुनागर एक ऐसा ठगी मामला सामने आया है। जो पीडब्ल्यूडी में नौकरी लगाने के नाम पर युवाओं से  ठगी करने वालों दो लोगो को इकनॉमिक सेल की टीम ने गिरफ्तार किया है।

जिन्होंने एक दो नही बल्कि 45 लोगो को नौकरी का झांसा देकर उनसे 15 लाख रुपए ठग लिए। आर्थिक अपराध शाखा की इंचार्ज इंस्पेक्टर सोमवती ने बताया कि इस मामले में अब पकड़े गए इन दोनों आरोपियों को कोर्ट में पेश कर एक दिन के रिमांड पर लिया गया है। इनमें से एक ट्रक ड्राइवर और दूसरा पेशे से मजदूर है। आर्थिक अपराध शाखा की इंचार्ज ने युवाओं को ऐसे लोगों से सचेत रहने की अपील करते हुए कहा कि कोई भी नौकरी को उसकी सही प्रकिया के अनुसार ही अप्लाई करें।

खुद को पीडब्ल्यूडी विभाग का बताकर और उन्हें आइकार्ड दिखाकर उनका विश्वास जीते थे ठगी। नौकरी लगवाने के 30 हजार तो किसी से डेढ लाख रुपए तक लिए गए। इस मामले में आरोपियों की पहचान तेलीपुरा निवासी गुरमेल उर्फ गुरनाम व अंबाला के गांव गगनपुर निवासी रामकुमार के रूप में हुई है। आरोपी गुरमेल ट्रक ड्राइवर है। वहीं रामकुमार मजदूरी करता है। दो आरोपियों को शुक्रवार को अदालत में पेश किया गया। अपराध शाखा की टीम ने आरोपियों को रिमांड पर लिया है।

अपराध शाखा की इंचार्ज इंस्पेक्टर सोमवती ने बताया कि दोनों आरोपियों ने अपने कुछ साथियों के साथ मिलकर 45 युवाओं को पीडब्ल्यूडी में नौकरी का झांसा दिया। इन 45 लोगों से करीब 15 लाख रुपए ठग लिए। कहा कि जगाधरी शहर पुलिस को विजय नगर कॉलोनी निवासी अमर सिंह की ने शिकायत दी थी। जिसमे धारा 420 और विभिन धाराओं के तहत मामला दर्ज हुआ था।

शिकायतकर्ता अमर सिंह ने बताया कि उसके मामा रामकुमार ने उसे कहा था कि गुरमेल ने उसे पीडब्ल्यूडी में नौकरी लगवाया है और उसे भी लगवा देगा। तब उन्होंने 1.80 लाख रुपए में नौकरी लगवाने की बात कही। 11 जनवरी 2021 को उसने उन्हें 35 हजार रुपए एडवांस दे दिए थे और 15 हजार बाद में देने की बात कही। गुरमेल ने उसे कहा था कि उसका बेटा सौरभ विभाग में पीडब्ल्यूडी है। उसी के माध्यम से उसकी बात चल रही है।

तब उसे बताया था उसकी 44 हजार रुपए सैलरी होगी। बाद में उसने 15 हजार रुपए और दे दिए थे। बाद में आरोपी कहने लगे कि विभाग में क्लर्क की पोस्ट है। उस पर वेतन 50 हजार होगा। अगर उस पर लगना है तो एडवांस में 1.20 लाख देने होंगे। इस पर उसने 69 हजार रुपए और दे दिए। वह 1.19 लाख रुपए उन्हें दे चुका था। 

उन्होंने आरोपियों के झांसे में आकर अपने साले विपिन को नौकरी लगवाने के 60 हजार एडवांस और मौसी के बेटे साहिल को नौकरी लगवाने के नाम पर 50 हजार एडवांस दिए थे। वहीं उसकी पत्नी को नौकरी लगवाने के नाम पर 45 हजार एडवांस लिए थे। बाद में भी आरोपी उनसे पैसे लेते रहे। वह अपनी पत्नी व साले को नौकरी लगवाने के नाम पर 1.90 लाख रुपए दे चुका था। लेकिन नौकरी नहीं लगी। जब उसने अपने मामा से उसकी नौकरी के बारे में पूछा तो उसने भी कुछ नहीं बताया। उन्हें बाद में पता चला कि गुरमेल ने कई लोगों को नौकरी लगवाने का झांसा देकर ठगा हुआ है। 

उन्होंने उससे अपने पैसे मांगे, लेकिन पैसे नहीं दिए। 10 जुलाई को इसको लेकर सरस्वती नगर में पंचायत हुई। वहां पर उसने लिखित में दिया कि वह पेमेंट वापस कर देगा। आरोपी ने अपनी बुआ के बेटे को पीडब्ल्यूडी में जीएम बताया था। बाद में उन्हें पता चला कि वह एक फाइनेंस कंपनी में नौकरी करता है। उन्हें पता चला कि आरोपी ने मुस्तफाबाद निवासी मनीष और ककडौनी निवासी सोहनलाल को भी नौकरी लगवाने का झांसा देकर पैसे ठगे हुए हैं। इस शिकायत पर पुलिस ने 28 अक्टूबर 2021 को धोखाधड़ी का केस दर्ज किया था।

वही, आर्थिक अपराध शाखा की इंचार्ज इंस्पेक्टर सोमवती  ने कहा कि ऐसे जालसाजों से सचेत रहने की जरूरत है। सही माध्यम से ही नौकरी अप्लाई करे किसी को भी अपने दस्तावेज न दे। जो सरकार की प्रक्रिया है, उसी से अप्लाई करें। सरकार की विभिन वेबसाइट्स है, उन पर नियमों के तहत अप्लाई करें। ठगी वालो के जाल में ना फंसे और किसी को नौकरी के नाम पर पैसे दे।

















 

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